चांद पर 2030 में होगी हलचल धरती पर आएगी विनाशकारी बाढ़ : नासा

13 Jul, 2021
Head office
Share on :

नासा ने अपनी रिपोर्ट में कहा कि वर्ष 2030 में जलवायु परिवर्तन के चलते बढ़ते समुद्र के जलस्तर के साथ चांद अपनी कक्षा से डगमगाएगा, जिससे धरती पर विनाशकारी बाढ़ आएगी। 

अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा (NASA) की नई स्टडी के अनुसार चांद हमेशा से समुद्री लहरों पर असर डालता है और चांद अपनी कक्षा (Moon Orbit) में जरा सा भी बदलाव करते है तो धरती के कई तटीय इलाकों में बाढ़ का खतरा मंडराने लगता है. नासा की यह स्टडी पिछले महीने नेचर क्लाइमेट चेंज (Nature Climate Change) में प्रकाशित हुई है.

18.6 साल में चांद बदलता है अपनी जगह

नासा की स्टडी के अनुसार, चांद का खिंचाव और दबाव साल दर साल संतुलन बनाए हुए हैं, लेकिन 18.6 साल में अपनी जगह पर हल्का सा बदलाव करता है. इस दौरान आधे समय चांद धरती की लहरों को दबाता है, लेकिन आधे समय ये लहरों को तेज कर देता है और उनकी ऊंचाई बढ़ा देता है, जो खतरनाक है. नासा (NASA) ने बताया कि चांद के 18.6 साल की सर्कल का आधा हिस्सा शुरू होने वाले है, जो धरती की लहरों को तेज करेगा. अगले 9 साल में यानी साल 2030 तक वैश्विक समुद्री जलस्तर काफी ज्यादा बढ़ चुका होगा और इसकी वजह से दुनिया के कई देशों में तटीय इलाकों में बाढ़ आ सकती है. उन्होंने कहा कि अपनी कक्षा में चांद के जगह बदलने से गुरुत्वीय खिंचाव, बढ़ता समुद्रीय जलस्तर और जलवायु परिवर्तन एक साथ मिलकर वैश्विक स्तर पर तटीय इलाकों में बाढ़ की स्थिति पैदा करेंगे, जिसके चलते भारी तबाही आ सकती है। 

2030 तक बहुत ज्यादा बढ़ जाएंगे न्यूसेंस फ्लड

NOAA की रिपोर्ट के मुताबिक साल 2019 में हाई टाइड की वजह से अमेरिका में 600 बाढ़ आई थी. अब NASA की एक नई स्टडी से खुलासा हुआ है कि साल 2030 तक अमेरिका समेत दुनिया भर में कई जगहों पर न्यूसेंस फ्लड (Nuisance Floods) की मात्रा बढ़ जाएगी. इसके साथ ही हाई टाइड के समय आने वाली लहरों की ऊंचाई करीब 3 से 4 गुना ज्यादा हो जाएगी.

News
More stories
मिशन 2022: युवा नेतृत्व 60 प्लस के नारे के साथ मैदान में उतरेगी पार्टी : मदन कौशिक